लाइफस्टाइल डेस्क. जल्द ही इंसान की सोचने-समझने की क्षमता यानी इंटेलिजेंसी को तेजी से बढ़ाया जा सकेगा। वैज्ञानिक ऐसी हाई-टेक चिप विकसित कर रहे हैं जिसे ब्रेन में इंप्लांट किया जा सकता है। स्मार्ट चिप ब्रेन कंप्यूटर की तरह काम करेगी। इसे नॉर्थवेस्टर्न यूनिवर्सिटी के न्यूरोसाइंटिस्ट डॉ. मोरॉन सेर्फ तैयार कर रहे हैं। डॉ. मोरॉन सेर्फ का लक्ष्य इंसानी सोच-समझ को और बेहतर करना है।
दिमाग से ड्राेन और सायबर सिस्टम कंट्रोल करेगी अमेरिकी सेना-
1- डॉ. मोरॉन ने चिप बनाने का आइडिया तब आया था जब एलन मस्क ने ब्रेन कंप्यूटर विकसित करने की बात कही थी। उनका कहना है कि ब्रेन में लगी चिप इंटरनेट से जुड़ी होगी और सवाल पूछे जाने वाले तुरंत जवाब मिल सकेगा। चिप को और भी बेहतर बनाने के लिए काम किया जा रहा है।
2- डॉ. मोरॉन का कहना है कि वर्तमान में इंसान चीजों को पाने के तरीके जानने के लिए काफी समय लगा रहा है। लेकिन क्या कोई चीज ऐसी है जिसे खाने से दिमाग तेज हो सकता है? हमने इसके लिए हाईटेक चिप बनाई है। आने वाले कुछ सालों में इसका इस्तेमाल भी संभव हो जाएगा। लेकिन आबादी में सोसायटीज के बीच ज्ञान का फासला भी बन सकता है।
3- डॉ. मोरॉन का कहना है कि कुछ समय पहले ही पेंटागन रिसर्च ने रोबोटिक आर्म बनाई थी जो इंसान और मशीन के बीच के फासले को कम करती है। अगले पांच सालों में स्मार्ट ब्रेन चिप्स का काम पूरा किया जा सकेगा। अमेरिका डिफेंस एडवांस्ड रिसर्च प्रोजेक्ट्स एजेंसी भी जवानों की दिमागी क्षमता बढ़ाने के लिए इस क्षेत्र में दिलचस्पी बढ़ा रही है।
4- एजेंसी ने जुलाई में अपने एन 3 प्रोग्राम के लिए एक टीम बनाई थी। जिसका काम सेना की टुकड़ी को मस्तिष्क की तरंगों से सूचना को पाना और भेजना था। इस तकनीक की मदद से सैन्य दस्ता दिमाग से ही ड्रोन और सायबर डिफेंस सिस्टम को कंट्रोल कर सकेगा।
5- गौरतलब है कि अमेरिका डिफेंस एडवांस्ड रिसर्च प्रोजेक्ट्स एजेंसी ने टार्गेटेड न्यूरोप्लास्टिसिटी ट्रेनिंग प्रोग्राम शुरू किया है। जिसका लक्ष्य सैनिक के नर्वस सिस्टम का इस्तेमाल करके उसके सीखने की स्किल्स को बढ़ाना है।