भोपाल, (एमपी)। प्रदेश में एक ओर बच्चा चोरी (अपहरण) के शक में लगातार मॉब लिंचिंग की घटनाएं सामने आ रही हैं, वहीं बच्चों के लापता होने की घटनाओं में कोई कमी नहीं आ रही हैं। राजधानी भोपाल से लेकर कस्बाई शहर और गांव कोई भी इससे अछूता नहीं रहा है।
मप्र पुलिस मुख्यालय से सूचना के अधिकार के तहत मिली जानकारी के मुताबिक 1 जनवरी 2019 से लेकर 30 जून 2019 के बीच प्रदेशभर में 6068 नाबालिग बच्चे गायब हुए। इनमें से 88 फीसदी नाबालिक लड़कियां हैं, जबकि लड़कों की संख्या महज 12 फीसदी है। इसी अवधि में पुलिस द्वारा बरामद (दस्तयाब) किए गए बच्चों की संख्या 4703 है। गौर करने वाली बात यह है कि लड़कों की बरामदगी का प्रतिशत 88 फीसदी है, जबकि लड़कियों की बरामदगी का प्रतिशत 74 प्रतिशत ही है। कुल मिलाकर बीते छह माह में गायब हुए बच्चों में से 1365 का कोई सुराग अब तक नहीं मिल सका है। इनमें 1211 लड़कियां और 154 लड़कें हैं। जिनके परिजनों को अपने नौनिहालों की घर वापसी की तलाश है।
मारपीट की डेढ़ दर्जन से अधिक घटनाएं हुईं:-
वहीं भोपाल पुलिस का कहना है कि बीते दो माह में इंटेलिजेंस ने सोशल मीडिया पर बच्चा चोरी या अपहरण गिरोह से जुड़ी लगभग 20 अफवाहों को ट्रेस किया है। इनमें से सभी को जांच के बाद झूठा पाया गया है। इन अफवाहों के कारण बेकसूर लोगों के साथ मारपीट और अभद्र व्यवहार की डेढ़ दर्जन से अधिक घटनाएं भी हुई हैं। राजधानी के बैरागढ़ चीचली गांव में 15 जुलाई को वरुण मीणा के अपहरण और हत्या की घटना के बाद से ही ये सिलसिला लगातार जारी है।
यह रहे आंकड़े:-