Breaking

Thursday, March 12, 2020

सचिन पायलट ने सिंधिया की विदाई को बताया दुर्भाग्‍यपूर्ण, राजस्‍थान की राजनीति में अटकलें शुरू

राजस्थान। उप मुख्यमंत्री और युवा कांग्रेसी नेता सचिन पायलट ने ज्योतिरादित्य सिंधिया की कांग्रेस से विदाई को दुर्भाग्यपूर्ण बताया है और कहा है कि वे चाहते हैं कि पार्टी के अंदर ही सहयोग के जरिए सभी मसले सुलझा लिए जाते.
सचिन पायलट के इस ट्वीट ने लोगों की कल्पनाओं को उड़ान दे दी है. ट्विटर पर कई यूजर्स ने सचिन पायलट की ज्योतिरादित्य सिंधिया के प्रति संवेदना का जिक्र करते हुए मामले के पार्टी के अंदर न सुलझाए जा सकने की बात को शिकायत जैसा माना है.
सचिन पायलट ने ज्योतिरादित्य की विदाई को बताया दुर्भाग्यपूर्ण:-
सचिन पायलट ने अपने ट्वीट में लिखा है- "भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस से ज्योतिरादित्य सिंधिया की विदाई दुर्भाग्यपूर्ण है. मैं चाहता हूं कि पार्टी के अंदर ही आपसी सहयोग से मसले सुलझाए जा सकते हैंं.
अब कमलनाथ सरकार पर मंडरा रहे हैं संकट के बादल:-
बता दें कि ज्योतिरादित्य सिंधिया के बीजेपी में शामिल हो जाने और कांग्रेस के 22 विधायकों के इस्तीफे के बाद मध्य प्रदेश की कमलनाथ सरकार पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं. कमलनाथ के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार लगभग एक साल  बाद ही जाने की कगार पर है. ऐसे में सवाल उठ रहे हैं कि अगर मध्य प्रदेश विधानसभा में फ्लोर टेस्ट की नौबत आई तो क्या कमलनाथ बहुमत साबित कर पाएंगे? क्योंकि पिछले साल कर्नाटक में भी कांग्रेस-जद (एस) सरकार को बीजेपी ने विदा कर दिया था.
वर्तमान में मध्य प्रदेश में विधानसभा की कुल 230 सीटें हैं. जिसमें से दो सीटें खाली हो जाने के बाद कुल 228 सीटे हैं. बहुमत के लिए 115 सीटों की जरुरत थी. मौजूदा कमलनाथ सरकार को 121 विधायकों का बहुमत हासिल था. इसमें 114 कांग्रेस, 2 बहुजन समाज पार्टी (BSP), एक समाजवादी पार्टी (SP) और चार निर्दलीय विधायकों का बहुमत शामिल था. लेकिन कांग्रेस के 22 विधायकों के इस्तीफा देने के बाद सियासी गणित बदल गया है.